Tuesday, August 18, 2009

jamalo ki consultancy

बिज़्नेस में मुल्ला से तगड़ा झटका खाने के बाद जमालो बी कुछ दिन तो गुमनामी में डूबी रही .पर बहुत दिन किसी शै पर मलाल करना उसकी फ़ितरत में ना था.दिमाग़ के घोड़े दौड़ाए.मुदिता जी और महक़ जी से मंत्रणा की ( पता नहीं विनेश जी ने कब देख लिया )..मंत्रणा का सार निकला कि कुछ ऐसा किया जाए कि हींग लगे ना फिटकरी और रंग चोखो ही चोखो….
मुदिता जी और महक़ जी के साथ मीटिंग के बाद ये डिसाइड हुआ कि एक ऐसा प्रोफेशन है जिसके मंदा होने का तो कोई चान्स ही नहीं है .लागत कुछ नहीं बस बातों के लच्छे ..जिसमें तो जमालो बी का कोई सानी नहीं ..और मुनाफ़ा क्लाइंट के स्टेटस के हिसाब से..वाह भाई वाह. मज़ा आ गया ..जमालो को अपना मनपसंद धंदा मिल गया करने को…

जब से पूरी दुनिया में पति पत्नी का अस्तित्व हुआ है तब से उनमें मतभेदों का भी अस्तित्व हुआ है..या यूँ कहें की दोनो अस्तित्व एक दूसरे के बिना पूर्ण नहीं हैं ..और अब उन मतभेदों के लिए advice लेना स्टेटस सिंबल में शामिल होता जा रहा है .जो जितनी ज़्यादा बार marriage counsellor के पास गया वो ज़्यादा रुतबे वाला.. पैसे वालों में होड़ सी लगी रहती है advisors के पास जाने की..तो साहिब जमालो बी ने भी यही धंदा चुना..
with the backup of the experience of Mudita ji and Mehaq ji...

आनन फानन में इश्तिहार छ्प गये “ज़िंदगी बनाइए ख़ुशगवार..अपने जीवनसाथी को ढालें अपने अनुसार..अपने ही घर में चूहे से शेर बनने के 1001 तरीके ..एक बार मिल तो लें ..(jamalo consultant ltd. ) “

हर शादीशुदा मर्द अपने को चूहा ही समझता है.. समझे ना भी पर दूसरों को बताने में शान समझता है की वो चूहा है..तो उसी भावना के तहत लाइन लग गयी जमालो बी के दफ़्तर के सामने .जमालो बी का ऑलरेडी जमालो लिमिटेड का office setup था ही.उस फ्रंट पर भी उनको कुछ खर्च नहीं करना पड़ा .AC office , फोन, फैक्स,कंप्यूटर सभी कुछ कायदे से install था तो फर्स्ट इंप्रेशन काफ़ी अच्छा था जमालो बी का .और उनकी प्रॅक्टिकल इंटेलिजेन्स काफ़ी थी दुनिया को राह दिखाने के लिए .एक फॉर्म भरना होता था जिसमें आवेदक को अपना नाम ,उम्र ,पता ,जेंडर और आय का ब्योरा देना होता था और आगे का agenda जमालो उसी के बेसिस पर तैयार करती थी..

तो साहिब धंदा चल निकला.मशहूरियत मुल्ला के कानो तक भी पहुँची ..मुल्ला वैसे तो जमालो से खार खाए बैठे थे पर अब जमालो को मूंडने के बाद उनके कलेजे को ठंडक मिल गयी थी और जैसे अमीरों के घर में मतभेदों का चलन ज़्यादा है वैसे ही मुल्ला भी अब ब्रेकप वाले मोड में पहुँच रहे थे ..तो मुल्ला जी ने सोचा की जमालो से अड्वाइज़ लेने में तो कोई हरजा ना है.. पसंद आएगी तो सुनेंगे वरना जैसी खुदा की मर्ज़ी..

मुल्ला विनेश जी को बिना बताए अपायंटमेंट फिक्स करवा आए जमालो बी से….(विनेश क्या जाने वैवाहिक जीवन की दुश्वारियां … commited person (ऐसा प्रोफाइल में लिखा है )..जाके पैर ना फटी बिवाई वा का जाने पीर परायी )..इसलिए इस बात का रिस्क मुल्ला जी ने खुद ही उठाना उचित समझा …मुल्ला जी का appointment फिक्स हो गया.1000 रु registration fee और advice के 500 रु अलग .और फिर मुल्ला के अपायंटमेंट का दिन आ आ गया..जमालो बी को मौका हाथ लगा अपनी कुछ रकम वापस उगहाने का …

जमालो ने शरबत पीला कर मुल्ला जी का स्वागत किया..
और मीठी आवाज़ में पूछा

जमालो-बताइए साहिब क्या परेशानी है आपको ?

मुल्ला- अरे बीबी.. एक हो तो बतायें,यहाँ तो सारे दिन की किच किच .हम तो पनाह माँग गये .

जमालो-बतायें भी..!

मुल्ला-हुमारी बेगम ने हमारा सोना -जागना , उठना - बैठना ,खाना -पीना ..अब कहाँ तक बतायें समझ लीजिए सब कुछ दूभर कर रखा है..ऐसे हँसो ऐसे बोलो.. ऐसे खाओ ऐसे सो...लाहौल बिला कूवत ..जैसे हुमारी कोई आइडेंटिटी ही नहीं है…

जमालो--ह्म्‍म्म्मम( गहन सोच की मुद्रा में)… ये तो मसला काफ़ी गंभीर हो गया है.. आइडेंटिटी क्राइसिस..मुल्ला जी i m sorry ( एक कुशल चिकित्सक की तरह चेहरे पर बेचारगी के भावः लाते हुए ) आपने काफ़ी देर कर दी.. अब दवा का नहीं.. .. i mean अब advice से नहीं product से काम लेना होगा ..

मुल्ला –कौन सा प्रॉडक्ट?

जमालो-अरे बड़ा useful प्रॉडक्ट है.हुमारी कंपनी ने पेटेंट करवा लिया है.. वो अपनी मुदिता जी और अतुल जी को जानते हैं आप?

मुल्ला –जी हाँ जी हाँ.!! बड़े खुशमिजाज मियाँ बीवी हैं.. दिल खुश हो जाता है उनकी जोड़ी देख कर …जैसे एक दूसरे के लिए बने हों ..

जमालो- बस ..इसी प्रॉडक्ट के कारण तो.. आप भी बन सकते हैं बिल्कुल वैसे..!!

मुल्ला जी की तो बांछे खिल गयी..इस प्रॉडक्ट को तो use करना चाहिए

मुल्ला-लेकिन कीमत??

जमालो—अरे मुल्ला जी अब शादीशुदा ज़िंदगी की खुशियों की कोई भी कीमत कम ही है..पर आपकी पुरानी ग्राहकी का ध्यान करते हुए सिर्फ़ आपके लिए 50% डिसकाउंट पर 5000 रु ..

मुल्ला –5000/-…( चक्कर सा आ गया मुल्ला को ..)

जमालो—अरे सोच लो मुल्ला..मुदिता जी और अतुल जी तो independently एक एक प्रॉडक्ट USE कर रहे हैं पिछले 10 साल से.. और अब सुना है महक़ जी भी उसके गुणों से प्रभावित हो कर उसे लेना चाहती है..

मुल्ला—चलिए दे दीजिए एक ..और इस्तेमाल का तरीका भी समझा दीजिएगा

जमालो-ज़रूर ज़रूर..!
कह के घंटी पर हाथ मार कर peon को बुलाती हैं और एक "खुशियाँ पाओ "प्रॉडक्ट को लाने का ऑर्डर देती है.. और एक 5500 की रसीद काट कर मुल्ला के हवाले करती है.. मुल्ला ज़ब्त-ए-दिल करके 5500 रु ( 5000 प्रॉडक्ट कॉस्ट+500 अड्वाइज़ कॉस्ट )..जमालो की नज़र करते हैं..और जमालो प्रॉडक्ट का पैक मुल्ला के हवाले करती हुई बताती हैं की user's guide में इस्तेमाल का तरीका तफ़सील से लिखा है..

मुल्ला खुशी खुशी घर आके पैकेट खोलते हैं तो उसमें से निकलते हैं..

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रबड़ के ear muffs ………………..या अल्लाह….

खैर मुल्ला उनको कानों में लगा के आराम से पेपर पढ़ रहे हैं और उनकी बेगम 6500 रुपये फूँक आने के एवज में अपनी संपूर्ण योग्यता के साथ उनकी सात पुश्तें तार रही हैं..
पर मुल्ला बहुत relaxed हैं.. और अख़बार पढ़ना बहुत enjoy कर रहे हैं… क्यूँ ना हो!!!!!!!!!!!!!

THE PRODUCT IS PROVEN BY ATUL JI AND MUDITA JI ...!!!!!!!!!!!!!!!!!!!!

3 comments:

  1. thank u for providing a product free of charge
    saadi to life ban gayi ji zamaloji

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  2. ha ha ha ....
    good one ,,,wakai mai product bahut kaam ka hai..

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  3. aise secret patent karwa lo.....!!!!!!!! bade akm ki cheej hai!

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